प्रयागराज, Sunday, December 22, 2024
धर्मनगरी प्रयागराज में महाकुम्भ की तैयारियां जोरों पर
धर्मनगरी प्रयागराज में आगामी महाकुम्भ को लेकर तैयारियां जोर-शोर से चल रही हैं। देश-विदेश से आने वाले लाखों श्रद्धालुओं की सुविधाओं का पूरा खयाल रखा जा रहा है। प्रशासन यह सुनिश्चित करने में जुटा है कि श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की परेशानी न हो। इसके लिए कई प्रकार की नई और उन्नत सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं।
पहली बार डोम सिटी का अनुभव
महाकुम्भ में इस बार आस्था के सबसे बड़े समागम में एक नई पहल की जा रही है। श्रद्धालुओं को पहली बार डोम सिटी में ठहरने का आनंद मिलेगा। प्रयागराज के अरैल क्षेत्र में बन रही इस डोम सिटी में श्रद्धालु हिल स्टेशन की अनुभूति कर सकेंगे। इसे पर्यटन विभाग के सहयोग से एक निजी कंपनी द्वारा विकसित किया जा रहा है।
कंपनी के निदेशक अमित जौहरी ने बताया कि पर्यटन विभाग ने सवा तीन हेक्टेयर भूमि इस परियोजना के लिए उपलब्ध कराई है। इस भूमि पर 51 करोड़ रुपये की लागत से देश की पहली डोम सिटी तैयार हो रही है।
डोम सिटी की विशेषताएं
डोम सिटी 15 से 18 फीट की ऊंचाई पर स्थापित की जा रही है। इसमें 360 डिग्री पोली कार्बन शीट से बने कुल 44 डोम बनाए जा रहे हैं। ये डोम पूरी तरह बुलेट प्रूफ और फायर प्रूफ हैं, जिससे इसमें रहने वाले पर्यटक पूरी तरह सुरक्षित रहेंगे। हर डोम को अत्याधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित किया गया है।
सुविधाएं:
- एयर कंडीशनिंग और हीटिंग की सुविधा।
- 24 घंटे बिजली और पानी की उपलब्धता।
- आरामदायक फर्नीचर और आधुनिक बाथरूम।
- कुम्भ मेले का सीधा नजारा देखने की व्यवस्था।
डोम सिटी को इस प्रकार डिज़ाइन किया गया है कि इसका अनुभव किसी हिल स्टेशन पर रहने जैसा महसूस हो। यह पहल पर्यटकों को न केवल आरामदायक ठहरने का अनुभव देगी, बल्कि उन्हें कुम्भ मेले की पवित्रता और भव्यता को और करीब से देखने का अवसर भी प्रदान करेगी।
पर्यटन को बढ़ावा
डोम सिटी के निर्माण का उद्देश्य न केवल श्रद्धालुओं को बेहतर सुविधाएं देना है, बल्कि प्रयागराज में पर्यटन को भी बढ़ावा देना है। महाकुम्भ में हर साल लाखों लोग शामिल होते हैं, और इस बार डोम सिटी जैसी अनूठी पहल से और अधिक पर्यटकों के आकर्षित होने की उम्मीद है।
पर्यटन विभाग के सहयोग से यह डोम सिटी एक नया अनुभव प्रदान करेगी। श्रद्धालुओं और पर्यटकों के लिए यह एक यादगार यात्रा का हिस्सा बनेगी।
आधुनिकता और परंपरा का संगम
महाकुम्भ का आयोजन भारतीय संस्कृति और परंपरा का प्रतीक है। डोम सिटी के जरिए इस आयोजन में आधुनिकता का एक नया पहलू जोड़ा गया है। पर्यटकों को इस बार महाकुम्भ में धार्मिक अनुभव के साथ-साथ एक विलासितापूर्ण ठहरने का मौका मिलेगा।
डोम सिटी में रहने वाले पर्यटक 360 डिग्री व्यू के जरिए कुम्भ मेले की भव्यता का आनंद ले सकेंगे। इसमें सुरक्षा के उच्चतम मानकों को अपनाया गया है, ताकि श्रद्धालुओं को किसी भी प्रकार की असुविधा न हो।
भविष्य की योजनाएं
डोम सिटी का निर्माण केवल महाकुम्भ तक सीमित नहीं रहेगा। भविष्य में इसे प्रयागराज में पर्यटन के लिए एक स्थायी आकर्षण के रूप में विकसित किया जा सकता है।
अतिरिक्त योजनाएं:
- पर्यावरण अनुकूल तकनीक का उपयोग।
- स्थानीय रोजगार के अवसर बढ़ाना।
- तीर्थयात्रियों के लिए अन्य आधुनिक सुविधाओं का विस्तार।
श्रद्धालुओं के लिए एक नया अनुभव
डोम सिटी में रहने का अनुभव महाकुम्भ में आने वाले श्रद्धालुओं के लिए अनूठा होगा। वे यहां आधुनिकता और परंपरा का संगम देख सकेंगे। यह पहल न केवल धार्मिक पर्यटन को बढ़ावा देगी, बल्कि प्रयागराज को एक वैश्विक पर्यटन स्थल के रूप में स्थापित करने में भी मददगार होगी।